अयोध्या मामला भाजपा के एजेंडे में रहा है लेकिन क्या उच्चतम न्यायालय के फैसले में उसकी कोई भूमिका है। हरगिज नहीं। लेकिन फैसले को अपने पक्ष में कैश कराना भाजपा ने शुरू कर दिया है। मंदिर मामले को लेकर खुद प्रधानमंत्री ने झारखंड में आयोजित रैली में यह प्रयास किया। उन्होंने कहा कि भाजपा जो कहती है वह करती है। भाजपा ने ही राम मंदिर मामले को परिणीति तक पहुंचाया। लेकिन सोचने वाली बात है कि अगर अयोध्या पर उच्चतम न्यायालय का फैसला अगर कुछ और होता तो क्या तब भी भाजपा यही करती। लेकिन राजनीति में सारे हथकंडे अपनाये जाते हैं। राम मंदिर मामला अभी कई विधानसभा चुनावों में गरमाया जाएगा। ताकि धार्मिक भावनाओं को मतों के रूप में कैश कराया जा सके।
अयोध्या मामले को कैश कराना शुरू